सौ बातों की एक बात,झुग्गियो का वोट जरुरी है और वोट के लिए झुग्गियां जरूरी है
गरीबों को ताकत मिलना जरूरी है लेकिन राजनीतिज्ञों के लिए गरीबी ही ताकत होती है
गरीबों को तालीम मकान और दुकान का वादा करना जरूरी है, क्योंकि वादे करना ही है राजनीति की धुरी है
दिल्ली में फिर इंसानियत का कत्ल हुआ, गरीबी ने ताकत दिखाइए मगर राजनीति ने गरीबी की ताकत बढाई
जो चला गया सो चला गया मगर गरीबी अभी भी जिंदा है.. कुछ राजनेता आए मगर वो नहीं, जानते है क्यों, क्योंकि जाने वाला गरीब नहीं
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